किसानों को सबल बनाता धनबाद का राजगंज पैक्स
धनबाद जिला के बाघमारा प्रखण्ड स्थित राजगंज पैक्स लि0 का निबंधन सहकारिता अधिनियम 1935 के तहत 19.10.1978 को हुआ। अपने निबंधन के बाद से ही राजगंज पैक्स की कार्यकारिणी और उसके सदस्यों ने अपने क्षेत्र के कृषकों को आर्थिक रुप से सबल बनाने का कार्य प्रारंभ कर दिया था और आज की तिथि में राजगंज पैक्स उर्वरक-बीज व्यवसाय, जमावृद्धि योजना, न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान अधिप्राप्ति सहित अपने सदस्य कृषकों के हित वाले लगभग सभी कार्य कर रही है।
- वर्ष 2011 में सहकरिता विभाग के पदाधिकारियों एवं जिला के सभी पैक्स अध्यक्षों के द्वारा उर्वरक एवं बीज व्यवसाय हेतु राजगंज पैक्स का चयन नोडल पैक्स के रूप में किया गया। समिति की वतर््मान कार्यकारिणी एवं पूर्व पैक्स अध्यक्ष श्री अयोध्या प्रसाद के सतत् प्रयास से पूरे जिला के लिए आंवटित उर्वरक एवं बीज का व्यवसाय करने वाले जिले के अन्य पैक्सों के साथ समन्वय स्थापित करते हुए उर्वरक एवं बीज आदि के वितरण का कार्य किया जा रहा है।
- किसानों एवं मजदूरों को बचत की उपयोगिता एवं महत्व को समझा कर उनमें लधु बचत की आदत डालते हुए राजगंज पैक्स में जमावृद्धि योजना को प्रारंभ किया गया।
- समिति में 15400 बचत खाते, 1350 लघु बचत खाते, 170 आवर्ती संचित खाते (रेकरिंग एकाउन्ट), 3200 फिक्स्ड डिपॉजिट खाते संचालित हैं। जमावृद्धि योजना अन्तर्गत 480 सदस्य किसानों के बीच लगभग 5.00 करोड़ रूपयों का ऋण वितरण किया गया हैं। समिति का जमावृद्धि योजना अन्तर्गत वर्ष 2021 तक 35,00,00,000/- (35 करोड़ रू0) टर्न ओभर रहा है।
- वर्ष 2021 में पैक्स के द्वारा 120.725 एमव्म्टीव्म् (खरीफ 2021) उर्वरक तथा 1912.00 क्विटंल (खरीफ 2020-21) बीज का व्यवसाय किया गया।
- धान अधिप्राप्ति कार्यक्रम के तहत पैक्स के द्वारा 9162. 88 क्विटंल (वर्ष 2020-21) में किसानों का धान खरीद कर सदस्यों सरकार द्वारा निर्धारित न्यूनतम समर्थन मूल्य दिलाने का कार्य किया गया,
- धान अधिप्राप्ति में उल्लेखनीय कार्यों के लिये राजगंज पैक्स को धनबाद जिले के श्रेष्ठ पैक्स के रुप में राज्य स्तर पर माननीय कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता मंत्री द्वारा प्रशस्ति पत्र एवं ट्रॉफी प्रदान कर सम्मानित किया गया। उत्तरी छोटानागपुर प्रमण्डल के आयुक्त द्वारा समिति को सम्मानित किया गया।
- वर्तमान समय में राजगंज पैक्स लि0 की पहली महिला अध्यक्षा श्रीमति वन्दना देवी की अध्यक्षता में कार्यकारिणी अपने कार्यों का निर्वहन कर रही है तथा अपने 685 सदस्यों के साथ क्षेत्र के विकास में अपनी भागीदारी निभा रही है।
माननीय मंत्री, कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग, समिति को पुरस्कृत करते हुए
आशालता दिव्यांग विकास सहयोग समिति लि., बोकारो
असंभव कुछ भी नहीं, अगर मन में दृढ़ इच्छाशक्ति हो और लक्ष्य की ओर बढ़ने का संकल्प हो तो तस्वीर एवं तकदीर दोनो बदल सकते हैं ।
झारखण्ड राज्य में इस्पात नगरी के नाम से प्रसिद्ध बोकारो जिला के सेक्टर 5 में 2009 में एक अनूठी पहल करते हुए दिव्यांगजनों को संगठित कर उन्हे रोजगार से जोड़कर स्वावलम्बी बनाने हेतु सहकारिता विभाग द्वारा आशालता विकलांग सहयोग समिति लिव्म् का गठन किया गया। अपने निर्माण के बाद से ही समिति अपने दिव्यांग सदस्यों की दशा और दिशा बदलने में निरंतर कार्य कर रही है तथा वर्तमान में इसमें कुल 52 सदस्य हैं।
"वर्ष 2013-14 में झारखण्ड राँची के मोराबादी मैदान में आयोजित व्यापार मेले में माननीय राज्यपाल एवं माननीय मुख्यमुत्री के द्वारा आशालता समिति के स्टाॅल को “बेस्ट स्टाॅल के पुरस्कार“ से सम्मानित किया गया। सदस्यों के सहयोग एवं पुरस्कारों से प्रेरित होकर समिति द्वारा आशालत्ता साईबर कैफे की स्थापना की गई, जिसमें जाति प्रमाण पत्र, राशन कार्ड, ड्राईविंग लाईसेंस, इनकम टैक्स रिटर्न, आॅनलाईन पेमेन्ट आदि सभी प्रकार का आॅनलाईन कार्य एवम् कम्प्युटर साक्षरता आदि के प्रोग्राम चलाये जा रहे हैं।"
समिति के सदस्यों के जज्बे और उनके हौसलों को पंख देने का कार्य किया राज्य सरकार एवं केन्द्र सरकार के द्वारा वित्तपोषित समेकित सहकारी विकास परियोजना ने समेकित सहकारी विकास परियोजना, बोकारो के माध्यम से आशालता विकलांग विकास सहयोग समिति को उसकी कार्ययोजनानुसार वित्तीय सहायता प्रदान की गई
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वर्ष 2009 में समिति ने सुधा मिल्क बूथ का निर्माण कर उसका सफलतापूर्वक संचालन किया तथा वर्ष 2011 में बिहार सरकार के द्वारा समिति के ष्ैनकीं ठमेज त्मजंपस व्नजसमजष् पुरस्कार से सम्मानित किया गया। समिति के अध्यक्ष श्री धमेर््न्द्र कुमार एवं सचिव श्री जवाहर गोप के सतत् प्रयास से समिति में आशा लता सुपर मार्केट (उपभोक्ता भंडार) का निर्माण किया गया। आशा लता सुपर मार्केट में उचित मूल्य पर गुणवत्तायुक्त उपभोक्ता वस्तुओं की बिक्री की जाती है। वर्ष 2013-14 में झारखण्ड राँची के मोराबादी मैदान में आयोजित व्यापार मेले में माननीय राज्यपाल एवं माननीय मुख्यमंत्री के द्वारा आशालता समिति के स्टाॅल को “बेस्ट स्टाॅल के पुरस्कार“ से सम्मानित किया गया। सदस्यों के सहयोग एवं पुरस्कारों से प्रेरित होकर समिति द्वारा आशालत्ता साईबर कैफे की स्थापना की गई, जिसमें जाति प्रमाण पत्र, राशन कार्ड, ड्राईविंग लाईसेंस, इनकम टैक्स रिटर्न, आॅनलाईन पेमेन्ट आदि सभी प्रकार का आॅनलाईन कार्य एवम् कम्प्युटर साक्षरता आदि के प्रोग्राम चलाये जा रहे हैं। वर्ष-2020-21 में आशालत्ता समिति के वार्षिक टर्नओवर लगभग 1.00 (एक) करोड़ रुपये रहा है।
समिति में जनतांत्रिक स्वरूप बहाल है, तथा समिति के निर्वाचित पदाधिकारी समिति का संचालन करते रहे हैं। अपने सपनो को सच मे बदलकर समिति से जुड़ दिव्यांगजन स्वावलम्बन की हवा में साँस ले रहे हैं और विकास की नई मंजिल तय करते हुए अपनी आर्थिक एवं सामाजिक स्थिति बेहतर कर रहे हैं।
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